मैं बहुत दूर हूँ Hindi sad kavita
मैं बहुत दूर हूँ
कोई है क्या मेरे पास
खुद के करीब होना, कितना मुश्किल है
तुम तुम्ही हो, या तुझमें कोई और है
मेरे चहरे पे आके कोई झूठ बोल जाता है
और सजाये मुझे हो जाती है
तुम्हारी आँखों में आंसू गिरना, ये अच्छा नहीं था
वो मुझमे कोई और था, जो तुझे रुलाया था
मैं बहुत दूर हूँ
कोई है क्या मेरे पास
मैं बहुत दूर हूँ Hindi sad kavita
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